राज्यों का पुनर्गठन, मणिपुर, जूनागढ़, हैदराबाद, पुदुच्चेरी, सिक्किम, गोवा और दमन – दीव का विलय
राज्यों का पुनर्गठन(Reorganization of Indian States In Hindi)
संविधान सभा द्वारा स्वीकृत मूल संविधान के प्रथम अनुसूची में भारत के राज्य और राज्य क्षेत्रों को चार श्रेणियों में बांटा गया है –
भाग (क) – में ब्रिटिश प्रांतों को रखा गया है जिनकी संख्या 9 थी |
भाग (ख) – में उन राज्यों को स्थान दिया गया जिनका जन्म देशी रियासतों के विलय के परिणाम स्वरूप हुआ था|
भाग (ग) – में केंद्र शासित प्रदेशों को रखा गया था |
भाग (घ) – में अंडमान निकोबार दीप समूह को शामिल किया गया था |
- स्वतंत्रता प्राप्ति के साथ ही भाषाएं आधार पर राज्यों के पुनर्गठन की मांग उठाई जा रही थी |
- संविधानसभा के अध्यक्ष डॉ राजेंद्र प्रसाद ने इलाहाबाद उच्च न्यायालय के दक्षता में चार सदस्यों का एक आयोग गठन किया, इस आयोग ने भाषा के आधार पर राज्यों के पुनर्गठन का विरोध किया और प्रशासनिक सुविधा के आधार पर समर्थन किया |
- मद्रास राज्य के तेलुगु भाषा के लोगों ने भाषा के आधार पर एक अलग राज्य की मांग की और इस भाग को लेकर पोट्टी श्रीरामुलु के नेतृत्व में एक आंदोलन प्रारंभ कर दिया|
- 56 दिन बाद आमरण 15 दिसंबर 1952 को पोट्टी श्रीरामुलु की मृत्यु हो गई | तब प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने तेलुगू भाषाओं के लिए एक अलग आंध्र प्रदेश नामक राज्य के गठन की घोषणा कर दी |
- 1 अक्टूबर 1953 को आंध्र प्रदेश का गठन हुआ जो भाषा के आधार पर गठित होने वाला भारत का पहला राज्य बना |
- राज्यों के पुनर्गठन के लिए अफजल अली की अध्यक्षता में राज्य पुनर्गठन आयोग गठित किया गया | जिसके अन्य सदस्य थे पंडित हृदयनाथ कुंजुरु और एम. पणिक्कर |
- राज्य पुनर्गठन अधिनियम जुलाई 1956 में पारित किया गया | सातवें संविधान संशोधन 56 राज्यों की श्रेणी को समाप्त कर 14 राज्य और 6 केंद्र शासित प्रदेश की स्थापना की गई |
- पुदुच्चेरी सहित पांडिय क्षेत्र में फ्रांस में पांच उपनिवेश का 1954 को भारत में विलय कर दिया गया और 1956 में उसे संघ राज्य क्षेत्र का दर्जा दिया गया |
- 18 दिसंबर 1961: गोवा, दमन और दीव को मिलाकर भारत का सातवां केंद्र शासित प्रदेश बनाया गया |
- 1 मई 1960: मराठी और गुजराती भाषा के आधार पर बंबई राज्य का विभाजन कर महाराष्ट्र और गुजरात दो राज्य का अलग-अलग गठन हुआ |
- 1962 में नागालैंड राज्य का गठन हुआ, जो कि भारत का 16वाँ राज्य बना |
- 1 नवंबर 1966: भाषा आधार पर पंजाब को पंजाब और हरियाणा राज्य में विभाजित कर दिया गया, जबकि चंडीगढ़ को संघ शासित प्रदेश बनाया गया |
- जनवरी 1971: हिमाचल प्रदेश को पूर्ण राज्य का दर्जा मिला |
- 21 जनवरी 1972: मणिपुर, त्रिपुरा और मेघालय को पूर्ण राज्य का दर्जा दिया गया |
- 26 जनवरी 1975: को सिक्किम विधानसभा के अनुरोध पर जनमत संग्रह के आधार पर सिक्किम को भारत का 22 वां राज्य बनाया गया | 36वें संविधान संशोधन द्वारा किया गया था |
- 20 फरवरी 1987: मिजोरम और अरुणाचल प्रदेश को पूर्ण राज्य का दर्जा मिला |
- मई 1987: गोवा को भारत का 25 वां राज्य बनाया गया |
- 1 नवंबर 1900: 26 वें राज्य छत्तीसगढ़ बना |
- 9 नवंबर 2000: 27वा राज्य उत्तराखंड का गठन हुआ |
- 15 नवंबर 2000: 28 वा राज्य झारखंड का गठन हुआ |
- (मध्य प्रदेश से छत्तीसगढ़, उत्तर प्रदेश से उत्तराखंड और बिहार से झारखंड अलग हुआ)
- 2 जून 2014: तेलंगाना का गठन हुआ | (आंध्र प्रदेश से अलग होकर)
राज्यों का पुनर्गठन देशी राज्यों का विलय :
भारत के आजादी के समय 565 से अधिक स्वतंत्र देशी रियासतें स्थिति थी, जिनमें भारत का लगभग 48% क्षेत्र और 20% जनसंख्या शामिल था |
आजादी के वक्त ब्रिटिश शासन ने घोषणा की यह देशी रियासत भारत या पाकिस्तान किसी एक में शामिल हो सकता है और अन्य अपने स्वतंत्र स्तिथि बनाए रख सकते हैं |
भारत के एकीकरण का श्रेय सरदार वल्लभभाई पटेल को जाता है, इस कारण उन्हें भारत का लौह पुरुष भी कहा जाता है | भारत के आजादी तक वल्लभभाई पटेल ने अपने समेकन नीति के तहत अधिकतम देसी रियासतों से विलय के सहमति पत्र पर हस्ताक्षर करवा | लेकिन हैदराबाद, जूनागढ़ और जम्मू कश्मीर स्वतंत्र स्थिति बनाए रहे |
मणिपुर का भारत में विलय
मणिपुर के महाराजा बोधचंद्र सिंह ने आजादी से पहले विलय पत्र पर हस्ताक्षर कर दिए थे |
जनमत के दबाव में महाराजा ने जनवरी 1948 में चुनाव करवाया, जिसके फलस्वरूप मणिपुर में संवैधानिक राजतंत्र कायम हुआ |
मणिपुर कांग्रेस तथा महाराजा की इच्छा पर कुछ विरोध के बावजूद उसे भारत के राज्य क्षेत्र में शामिल कर लिया गया |
जूनागढ़ का भारत में विलय
जूनागढ़ पर मुस्लिम शासक नवाब मोहम्मत महाबत का शाशन था परंतु वह हिंदू बहुल क्षेत्र था | जूनागढ़ का नवाब पाकिस्तान में शामिल होना चाहता था जिसका स्थानीय जनता ने विरोध कर दिया |
फरवरी 1948 में जूनागढ़ में जनमत संग्रह करवाया गया जिसमें जूनागढ़ को भारत में विलय कर लिया गया |
अतः जूनागढ़ का भारत में विलय जनमत संग्रह के आधार पर हुआ था |
हैदराबाद का भारत में विलय
स्वतंत्रता प्राप्ति के समय हैदराबाद एक विशाल देसी रियासत था |
हैदराबाद का निजाम पाकिस्तान की सहायता से स्वयं को स्वतंत्र राष्ट्र बनाने की योजना तैयार कर रहा था |
हैदराबाद निजाम ने नवंबर 1947 में भारत के साथ 1 साल तक यथास्थिति बनाए रखने के लिए एक समझौता हस्ताक्षर किया | इसी बीच हैदराबाद की जनता ने निजाम के शासन के खिलाफ आंदोलन शुरू कर दिया जिसे निजाम ने बलपूर्वक दबाने का प्रयास किया |
भारत सरकार ने हैदराबाद के विरुद्ध 13 सितंबर 1948 को सैनिक कार्रवाई की जिसे ऑपरेशन पोलो नाम दिया गया और हैदराबाद को भारत में विलय करवा लिया गया |
पुदुच्चेरी का भारत में विलय
स्वतंत्रता प्राप्ति के समय फ्रांस के पांच उपनिवेश पांडिचेरी तथा कराइकल (तमिलनाडु), यमन (आंध्र प्रदेश), माहे (केरल), तथा चंद्र नगर (वेस्ट बंगाल) भारत की मुख्य भूमि पर थे |
यमन13 जून 1954 को जनता के दबाव में तथा भारत – फ्रांस वार्ता के कारण स्वतंत्र घोषित कर दिया गया |
31 अक्टूबर 1954 को पांडिचेरी सहित सभी फ्रांसीसी उपनिवेश का भारत में विलय हो गया परंतु क्षेत्रों का वास्तविक हस्तातंत्रण 1962 में ही संभव हो पाया |
19 अगस्त 1962 को को पांडिचेरी, कराईकाल माहे और यमन इन फ्रांसीसी क्षेत्रों को मिलाकर संघ राज्य क्षेत्र घोषित किया गया |
गोवा और दमन – दीव का भारत में विलय
गोवा, दमन और दीव पर पुर्तगालियों का नियंत्रण था | भारत ने गोवा के स्वतंत्रता के लिए पहले कूटनीतिक प्रयास किया और पुर्तगालियों की राजधानी लिंसबन में अपना कार्यालय खोला, लेकिन प्रयास विफल होने पर 1953 में यह कार्यालय बंद कर दिया गया | लेकिन इन क्षेत्रों में स्वतंत्रता के लिए आंदोलन जारी रहा |
17 से 18 दिसंबर 1961 को भारतीय सेना द्वारा गोवा की मुक्ति के लिए ऑपरेशन विजय चलाया गया जो 19 दिसंबर 1961 को पूरा हो गया |
मुक्ति के बाद गोवा, दमन दीव को संघ शासित प्रदेश घोषित किया गया |
56 वां संविधान संशोधन आधिनियम 1987 द्वारा भारत के 25 वें राज्य के रूप में गोवा को दर्जा दिया गया |
सिक्किम का भारत में विलय
आजादी के साथ सिक्किम भारत का शरणागत राज्य था | सिक्किम की रक्षा और विदेश मामले का दायित्व भारत सरकार पर था जबकि आंतरिक प्रशासन की बागडोर राजा चोग्याल के हाथों में थी |
1934 में सिक्किम में लोकतांत्रिक चुनाव कराए गए जिसमें सिक्किम कांग्रेस को भारी जीत मिली |
अप्रैल 1975 में सिक्किम कांग्रेस ने सिक्किम को भारत का सह प्रांत बनाने का प्रस्ताव पारित किया परंतु बाद में कराए गए जनमत संग्रह में जनता ने भी सहमती दे दी |
26 अप्रैल 1975 36वे संविधान संशोधन द्वारा सिक्किम विधानसभा के अनुरोध और जनमत संग्रह के आधार पर सिक्किम को भारत का 22 वां राज्य बनाया गया |
F&Q
Q2. हैदराबाद का भारत में विलय कब हुआ?
Ans – भारत सरकार ने हैदराबाद के विरुद्ध 13 सितंबर 1948 को सैनिक कार्रवाई की जिसे ऑपरेशन पोलो नाम दिया गया और हैदराबाद को भारत में विलय करवा लिया गया |
Q3. जूनागढ़ का भारत में विलय कब हुआ था?
Ans – फरवरी 1948 में जूनागढ़ में जनमत संग्रह करवाया गया जिसमें जूनागढ़ को भारत में विलय कर लिया गया |
Q3. सिक्किम का भारत में विलय कब हुआ था?
Ans – 26 अप्रैल 1975 36वे संविधान संशोधन द्वारा सिक्किम विधानसभा के अनुरोध और जनमत संग्रह के आधार पर सिक्किम को भारत का 22 वां राज्य बनाया गया |
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